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कैरियर काउंसलिंग का आयोजन-विषय चयन से पहले कैरियर काउंसलिंग जरुरी..

कैरियर काउंसलिंग का आयोजन-विषय चयन से पहले कैरियर काउंसलिंग जरुरी..

आरंग। महात्मा गांधी शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय रीवां विकास खंड आरंग जिला रायपुर छत्तीसगढ़ में प्राचार्य आर. पी. चंद्राकर के निर्देशानुसार विद्यालय के समस्त स्टाफ के सहयोग से कंप्यूटर कक्ष स्मार्ट रूम में कैरियर काउंसलिंग का आयोजन किया गया l जिसमें मुख्य अतिथि के रूप में ग्राम पंचायत रीवा के सरपंच आदरणीय घसिया राम साहू एवं शाला विकास समिति के अध्यक्ष नंदकुमार साहू उपस्थित थे lभविष्य निर्माण कार्यशाला में विषय के रूप में8 विद्यार्थियों को विषय चयन से पहले कैरियर मार्गदर्शन की आवश्यकता क्यों होती है l इस काउंसलिंग कार्यशाला में मुख्य वक्ता के रूप में डॉ. वेद लाल साहू व्याख्याता रसायन शास्त्र ने सभी बच्चों को एलईडी के माध्यम से पावर पॉइंट प्रेजेंटेशन के साथ विद्यार्थी को कैरियर निर्माण में विषय का चयन किस प्रकार करना है और आगे भविष्य में उसका क्या योगदान होना चाहिए के बारे में विस्तार पूर्वक बताया lडॉ. साहू ने इस कार्यशाला में बताया कि आज भी ‘कैरियर’ का चुनाव हम च्वायस से नहीं चांस के आधार पर ही करते हैं। तभी तो आमतौर पर अधिकांश छात्र-छात्राएं स्कूली शिक्षा पूरी करने के बाद चाहे-अनचाहे कालेजों में ही दाखिला ले लेते हैं। आगे पढ़ाई जारी रखने की अपेक्षित इच्छा-शक्ति व लगन भले ही उनमें बिल्कुल नहीं हों, लेकिन पारिवारिक दबाव और सामाजिक प्रतिष्ठा के चक्कर में पड़कर उन्हें क्षेत्र विषय में अपनी दिलचस्पी व स्थान को ताक पर रखकर बगैर सोचे-विचारे शिक्षण संस्थाओं में दाखिला ले लेते है। आज जब कैरियर की दुनिया में एक नहीं, अनेकानेक संभावनाएं सामने हैं, तब भी अधिकांश छात्रों के माता-पिता उनके भविष्य को सजाने-संवारने का एकमात्र रास्ता उच्च शिक्षा ही मानते हैं l तथा उसका केन्द्र कालेज या विश्वविद्यालय को । अपने बच्चो के भोजन, कपडे़ अथवा घूमने-फिरने के शौक पर भले ही वे किसी तरह का प्रतिबंध नहीं लगाते हों, कैरियर के चुनाव में किसी भी तरह की स्वतंत्रता देना उन्हें नागवार गुजरने लगता है या वे फिर इसे उचित भी नहीं समझते।डॉ. साहू ने बताया कि इतना ही नहीं सबसे बड़ा दुर्भाग्य तो यह है कि अपने यहां के अधिकांश छात्र-छात्राओं को यह भी नहीं मालूम कि वे अपनी शैक्षणिक योग्यता, अभिरूचि व क्षमता के उपयुक्त किस कोर्स का चुनाव करे। उन्हे यह भी पता नहीं कि आज इतने अधिक व्यावसायिक कोर्स उपलब्ध है कि सामान्य रूप से अनचाहे शैक्षणिक संस्थाओं में दाखिला लेकर उच्च शिक्षा पर बोझ बढ़ाने तथा दोबारा बेरोजगार बने रहने की जहमत मोल लेते है l
डॉ. साहू जी ने बच्चों को अपना सही कैरियर निर्माण अथवा पारिवारिक उपेक्षा व सामाजिक तिरस्कार से बचने के लिए बेहतर है कि किसी ऐसे कोर्स का चुनाव करें l जिसमें काफी पर्याप्त दिलचस्पी हो, आगे बढ़ने के तमाम अवसर हों तथा सबसे बड़ी बात यह हो कि स्वनियोजन अथवा रोजगार की शत-प्रतिशत गारंटी हो।कार्यक्रम की शुरुआत संस्था के प्राचार्य आर. पी. चंद्राकर , वरिष्ठ व्याख्याता आर. सी. साहू एवं श्रीमती मनिका दत्ता द्वारा मां सरस्वती की छायाचित्र पर पुष्प अर्पित कर पूजा अर्चना के साथ की गई l बच्चों को करियर से संबंधित अन्य विषयों पर रवि कुमार वर्मा व्याख्याता भौतिकी व श्रीमती शजिंता शुक्ला व्याख्याता हिन्दी के द्वारा प्रकाश डाला गया lइस कार्यक्रम में संस्था के समस्त स्टाफ व्याख्याता गण भैया राम साहू , श्रीमती बसंती बंजारे , श्रीमती वर्षा द्विवेदी , श्रीमती कविता सोनवानी , श्रीमती तरन्नुम खान , श्रीमती निर्मला पांडेय , कु.जी. चंद्राकर , अमित चंद्राकर व्यायाम शिक्षक, विनोद कुमार साहू विज्ञान शिक्षक , श्रीमती श्यामा रात्रे विज्ञान शिक्षिका , ललित कुमार ध्रुव, शोभाराम साहू , दिगम्बर साहू , जय प्रकाश , चूड़ामन साहू , अश्वनी साहू एवं कक्षा नवमी से बारहवीं तक की बड़ी संख्या में छात्र छात्रा उपस्थित थे lकार्यक्रम का सफल संचालन श्रीमती शज़िंता शुक्ला द्वारा की गई l इस कार्यक्रम की प्रशंसा ग्रामीणों एवं छात्र छात्राओं द्वारा की गई l
विनोद गुप्ता-आरंग

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